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विश्व बैंक ने प्रवास एवं विकास सम्बन्धी संक्षिप्त पत्र जारी किया गया |

विश्व बैंक ने प्रवास एवं विकास सम्बन्धी संक्षिप्त पत्र जारी किया गया |


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0000-00-00 : विश्व बैंक ने 13 अप्रैल 2015 को प्रवास तथा विकास संबधी संक्षिप्त पत्र जारी किया गया है | वर्ष 2014 में भारत से विश्व में सबसे अधिक लोगों ने प्रवास किया | तथा जिन पांच शीर्ष देशों से प्रवास हुआ वे हैं भारत, चीन, फिलीपींस, मेक्सिको और नाइजीरिया | पांच प्रमुख देश जिनमें सबसे अधिक लोगों ने जाना पसंद किया वे हैं संयुक्त राज्य अमेरिका, सऊदी अरब, जर्मनी, रूस और संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) | रिपोर्ट के अनुसार विकासशील देशों को प्रवासी नागरिकों द्वारा विदेशी मुद्रा के रूप में वर्ष 2015 में 440 अरब अमेरिकी डॉलर तक धन प्राप्ति का अनुमान है | यह वर्ष 2014 से 0.9 प्रतिशत अधिक है. वैश्विक स्तर पर यह वृद्धि 0.4 प्रतिशत के साथ 586 अरब अमेरिकी डॉलर तक होने का अनुमान है | और वर्ष 2015 की प्रेषण विकास दर 2008-09 के वैश्विक आर्थिक संकट से ही काफी धीमी है | वर्ष 2015 में अंतरराष्ट्रीय प्रवासियों की संख्या 250 मिलियन से अधिक होने की उम्मीद है साथ ही उनके द्वारा प्रेषित धन एवं बचत में भी वृद्धि होने का अनुमान है | धन प्रेषण में यह मंदी 2015 में भी बनी रहेगी, यूरोप तथा मध्य एशिया में 12.7 प्रतिशत की गिरावट की उम्मीद की जा रही है | अमेरिका में आर्थिक सुधार के आंशिक प्रभावों के रूप में यूरो क्षेत्र का कमज़ोर होना, रूसी अर्थव्यवस्था पर कम तेल की कीमतों का असर, सख्त आव्रजन नियम तथा अमेरिकी डॉलर में आई मजबूती भी माना जा रहा है | वर्ष 2014 के क्वार्टर 4 में 200 अमेरिकी डॉलर भेजने के लिए कीमतें वैश्विक स्तर पर 8 प्रतिशत पर स्थिर रहीं | कीमतों के कम होने के बावजूद मोबाइल प्रौद्योगिकी की उपयोगिता काले धन तथा आतंकवाद के खतरों के कारण काफी हद तक सीमित रही | मोबाइल प्रौद्योगिकी के माध्यम से भेजा गया अंतर्राष्ट्रीय धन प्रेषण 2013 के धन प्रवाह की तुलना में 2 प्रतिशत कम रहा | यह देखा गया कि अंतरराष्ट्रीय प्रवासियों द्वारा अपने गंतव्य देशों में परिवार तक पैसा भेजने के लिए अच्छी-खासी बचत की गयी. वर्ष 2013 में यह बचत लगभग 497 अरब अमेरिकी डॉलर थी |

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