
मदर टेरेसा की 109वीं जयंती मनाई गई
2019-08-26 : हाल ही में, भारत में 26 अगस्त 2019 को मदर टेरेसा की 109वीं जयंती मनाई गयी। मदर टेरेसा का जन्म 26 अगस्त 1910 को हुआ था। उन्हें विशेष रूप से उनके समाजसेवी कार्यों जैसे गरीबों, अनाथ, बेघर, एड्स और कुष्ठ रोग के पीड़ितों की सेवा के लिए जाना जाता है। पाठक धयान दे की उनका वास्तविक नाम अगनेस गोंझा बोयाजिजू था। वे एक अल्बानियन-भारतीय रोमन कैथोलिक नन थीं। उन्होंने मात्र 18 वर्ष की आयु में समाजसेवा के लिए अपना घर छोड़ दिया था और भारत आ गई थीं और अपने जीवन का लगभग सारा समय यहीं लोगों की सेवा में बिताया।
मदर टेरेसा 19 वर्ष की आयु में 1929 में भारत आईं और समाजसेवा की शुरुआत की। उन्हें भारत के साथ साथ कई अन्य देशों की नागरिकता मिली हुई थी, जिसमें ऑटोमन, सर्बिया, बुल्गेरिया और युगोस्लाविया शामिल हैं। मदर टेरेसा ने कहा था कि एक बार वे दार्जलिंग की यात्रा पर जा रही थीं तो उन्हें अंतरात्मा से आवाज़ आई कि उन्हें सब कुछ छोड़ कर असहाय लोगों की सहायता के लिए लग जाना चहिए. वर्ष 1946 में उन्होंने गरीबों, असहायों की सेवा का संकल्प लिया था। निस्वार्थ सेवा के लिए मदर टेरेसा ने वर्ष 1950 में कोलकाता में “मिशनरीज ऑफ चैरिटी” की स्थापना की थी।
मदर टेरेसा को उनकी सेवाओं के लिये विश्व भर में विभिन्न पुरस्कारों एवं सम्मानों से नवाजा गया है। उन्हें वर्ष 1979 में शांति और सदभावना के क्षेत्र में अहम योगदान के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इसके अगले ही वर्ष 1980 में उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। इसके अतिरिक्त 09 सितम्बर 2016 को वेटिकन सिटी में पोप फ्रांसिस ने मदर टेरेसा को संत की उपाधि से विभूषित किया था।
मदर टेरेसा अपनी वृद्ध आयु में भी दिन-रात असहायों की सेवा करती रहती थीं जिनके चलते उन्हें दो बार हृदयघात हो चुका था तथा न्यूमोनिया लगातार बना रहता था। सेहत लगातार खराब रहने के कारण उन्होंहने 1996 में संस्था के पद से इस्तीफा दे दिया था। अगले ही वर्ष 05 सितंबर 1997 को मदर टेरेसा का 87 वर्ष की आयु में निधन हो गया।