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भारतीय मूल के अमेरिकी डॉ. पिनाकी पाणिग्रही ने सेप्सिस का अचूक और सस्ता इलाज खोजा

भारतीय मूल के अमेरिकी डॉ. पिनाकी पाणिग्रही ने सेप्सिस का अचूक और सस्ता इलाज खोजा


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2017-08-21 : हाल ही में, अमेरिका में भारतीय चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉ. पिनाकी पाणिग्रही ने “सेप्सिस” का अचूक और सस्ता इलाज खोजा है। सेप्सिस एक घातक संक्रमण की बीमारी है जिससे प्रत्येक वर्ष विश्वभर में 60,000 बच्चों की मौत हो जाती है। अमेरिकी मीडिया संगठन, नेश्नल पब्लिक रेडियो (एनपीआर) की रिपोर्ट के अनुसार, पाणिग्रही पिछले प्रोबायोटिक जीवाणु का पता लगाने के लिए पिछले 20 सालों से इस विषय पर शोध कर रहे थे जो आम, अचार और अन्य सब्जियों में पाया जाता है और ये नवजात शिशुओं में इस समस्या का अचूक ईलाज बन सकता है।

पिनाकी पाणिग्रही बीजेबी कॉलेज, भुवनेश्वर और एमकेसीजी मेडिकल कॉलेज, ब्रह्मपुर के पूर्व छात्र थे। वे वर्तमान में नेब्रास्का मेडिकल सेंटर कॉलेज ऑफ पब्लिक हेल्थ के बाल रोग विशेषज्ञ के रूप में काम कर रहे हैं।

क्या है सेप्सिस?

# डॉ. पिनाकी पाणिग्रही ने बताया कि सेप्सिस एक घातक संक्रमण की बीमारी है, एक बार इस संक्रमण से प्रभावित होने पर बच्चे अचानक से निष्क्रिय हो जाते हैं वे रोना और अन्य हरकत करना भी बंद कर देते हैं।

# यह काफी तेजी से फैलता है और जब तक उन्हें अस्पताल ले जाया जाता है तब तक उनकी मौत हो जाती है।

# शोध में यह भी कहा गया है कि जिन बच्चों ने कुछ शर्करा के साथ एक सप्ताह के लिए सूक्ष्म जीवों को खाया था, उनमें सेप्सिस के कारण होने वाली मौत में नाटकीय कमी आई थी।

# उनमें 40 प्रतिशत की गिरावट देखी गई।

# इतना ही नहीं, प्रोबायोटिक ने फेफड़ों में शामिल अन्य कई प्रकार के संक्रमणों को भी रोकने में मदद की।

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